रोजगार के विषय को लेकर कृषि छात्रों ने सब्जी बेचकर किया विरोध प्रदर्शन; अभाविप
छत्तीसगढ़ अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद के इंदिरा गांधी कृषि विश्वविद्यालय रायपुर, कृषि के छात्रों के द्वारा रोजगार ना देने कारण छत्तीसगढ़ शासन व कृषि मंत्री के विरोध में कृषक नगर रायपुर (जोरा) मे सब्जी बेचकर अपना विरोध प्रदर्शन वयक्त किया गया।
कृषि प्रधान राज्य होने के बावजूद आज छत्तीसगढ़ के कृषि छात्रों की स्थिति यह हो गयी हैं कि उन्हें अपने ही राज्य में रोजगार को लेकर दर-दर की ठोकरे खाने को मिल रही हैं। राज्य मे कृषि अधिकारी की विभिन्न पदों की भर्ती प्रक्रिया रोक दी गई है जिन पदों पर भर्ती की मांग की जा रही है। मांग को लेकर अभाविप के विभिन्न कार्यकर्ताओं ने समस्त जिलो के कलेक्टरेट आफ़िस में ज्ञापन सौंपकर इस मुद्दे की जानकारी कृषि मंत्री तक पहुंचायी व अपनी बात रखी। लेकिन सरकार को कृषि व कृषि से संबंधित छात्रों की भविष्य की कोई चिंता नहीं है।

तत्पश्चात कृषि छात्रों को रोजगार नहीं देने व राज्य शासन के कृषि विरोधी रवैया के खिलाफ अभाविप के विरोध प्रदर्शन को आगे बढ़ाते हुए आज शाम जोरा चौक, रायपुर में बेरोजगार कृषि छात्रों द्वारा सब्ज़ी बेच कर विरोध प्रदर्शन किया गया।
अभाविप कृषि आयाम के छत्तीसगढ़ प्रांत संयोजक निखिल तिवारी जी ने कहा कि छत्तीसगढ़ शासन का कृषि के छात्रों के प्रति उदासीन रवैया को देखते हुए विरोध किया।
तिवारी जी ने बताया कि कृषि विश्वविद्यालय के स्नातक स्नातकोत्तर व पीएचडी के छात्रों के लिए विगत चार-पांच वर्षों से कोई भी वैकेंसी नहीं निकली है, एवं अनेक रिक्त पद खाली है । जिन पदों की भर्ती के लिए राज्य सरकार को कदम उठाना चाहिए।
अभाविप कृषि आयाम के राष्ट्रीय सह संयोजक संदीप तांडव जी ने कहा कि जब से छत्तीसगढ़ में कांग्रेस की सरकार आई है तब से लगभग सभी वर्ग को उनके अधिकार से वंचित किया गया। कांग्रेस के सरकार के आते ही छत्तीसगढ़ के कृषि छात्रों को लैपटॉप वितरण बंद कर दिया गया । वह विगत वर्षों से कृषि के पदों की भर्ती प्रक्रिया रोक दी गई है।
आकाश चंद्रा जी ने कहा कि 4 साल की कृषि की प्रोफेशनल डिग्री करने के बावजूद कृषि के छात्रों को रोजगार के लिए दर-दर भटकना पड़ रहा है, उनको उनके काबिलियत के अनुसार उचित रोजगार नहीं मिल पा रही है, और ऐसी नौबत आ गई है कि कृषि छात्रों को सब्जी बेचना पड़ रहा है । https://youtu.be/OAOfEpgh_oE
शैलेश कौशिक जी ने कहा कि कृषि छात्रों के द्वारा विगत 6 महीनों से सरकार को जागरूक करने का प्रयास किया जा रहा है लेकिन सरकार को इससे कोई फर्क नहीं पड़ रहा है वह छात्रों की बात सुनने को तैयार नहीं है।
अभाविप के सभी कार्यकर्ताओं व छात्रों का कहना है कि अगर सरकार जल्द से जल्द कृषि के विभिन्न पदों की भर्ती प्रक्रिया शुरू नहीं करती है तो उग्र प्रदर्शन किया जाएगा जिसके जिम्मेदार सरकार स्वयं होगी।