रेत से भरे डंफर का टायर फटा, बाइक सवार को लिया चपेट में
भिलाई। टाउनशिप से नंदिनी रोड को जोड़ने वाले ब्रिज के नीचे बड़ा हादसा हो गया। रेत से भरा डंपर छावनी चौक की ओर ब्रिज से नीचे उतर रहा था। उसी दौरान शार्टकट अपनाकर बाइक सवार सामने आ गया। डंपर के पिछले पहिया का टायर फट गया और अनियंत्रित होकर बाइक सवार को चपेट में लेते हुए राइट साइड जाकर गर्डर से जोरदार टकरा गया। केबिन में फंसे चालक को निकालने के लिए दो क्रेन और एक बैकलोडर की मदद ली गई। डंपर और बाइक चालक अस्पताल में भर्ती हैं। दोनों का इलाज चल रहा है।
छावनी टीआई चेतन चंद्राकर ने बताया कि मंगलवार सुबह 7.45 बजे की घटना है। कांकेर से रेत लोड कर गुंडरदेही निवासी चालक वीरेन्द्र साहू टाउनशिप की तरफ ब्रिज से नंदिनी रोड ट्रेडर्स के यहां रेत को अनलोड करने जा रहा था। ब्रिज से नीचे उतरते समय रॉन्ग साइड से तेजी से अपने राइट साइड चला गया। इधर नीचे उतर रहे डंपर का पिछला टायर फट गया और बाइक सवार को रगड़ते हुए राइट साइड जाकर गर्डर से टकरा गया। इंजन और चेचिस क्षतिग्रस्त हो गया। डंपर की केबिन में चालक फंस गया। इधर बीएसपी में ड्यूटी पर जा रहे बाइक सवार का पैर फ्रेक्चर हो गया। उसे सेक्टर-9 अस्पताल में भर्ती कराया गया।
पुलिस असहाय आई नजर
सूचना पर छावनी सीएसपी हरीश पाटिल, प्रशिक्षु आईपीएस राहुल बंसल और छावनी थाना प्रभारी दल बल के साथ घटना स्थल पर पहुंचे। देखा डंपर लोहे के गर्डर से टकराकर बुरी तरह से क्षतिग्रस्त हो गया। केबिन में फंसा चालक वीरेन्द्र साहू अपनी जान बचाने की गुहार लगा रहा था। पुलिस अधिकारी असहाय खड़े रहे। हालांकि ट्रैफिक पुलिस मौके पर पहुंचकर यातायात व्यवस्था संभाल रही थी।
पुलिस के पास इतना बड़ा क्रेन नहीं था कि तत्काल उसकी मदद की जा सके। पुलिस ने एसडीआरएफ को मौके पर बुलाया। इसके बाद पुलिस और एसडीआरएफ की टीम बचाव में जुटी।
चालक निकला 3.30 घंटे बाद
डंपर की केबिन के अंदर से चालक वीरेन्द्र साहू जान बचाने की गुहार लगा रहा था। जब कोई रास्ता नजर नहीं आया। तब छावनी प्रभारी चेतन चंद्राकर ने गाड़ी मालिक को फोनकर बोला कि तत्काल क्रेन आनी चाहिए। जाम की स्थिति निर्मित हो रही है। गाड़ी मालिक ने तत्काल दो क्रेन और एक बैकलोडर भेजा। केबिन के अंदर घुसे जवानों ने ड्राइवर को खींच कर बाहर निकाल लिया। इस पूरे रेस्क्यू में 3.30 घंटे लगे।
नो-इंट्री की मांग
घटना को देखते ही देखते लोगों की भीड़ इकट्ठा हो गई। उनका कहना है कि वर्ष 2018 में इस रोड पर नो-इंट्री थी। जबकि सुबह सीएसपी कार्यालय और ब्रिज के मध्य में स्कूल बसें रुकती है। इस लिए नो-इंट्री किया जाए। बड़ी संख्या में बच्चे बस की इंतजार में खड़े होते हैं। किसी दिन गंभीर हादसा हो सकता है।