राजधानी की सड़कों पर नए साल से 10 इलेक्ट्रिक बस निगम ही करेगा संचालन, 6 चार्जिंग प्वाइंट भी बनेंगे
राजधानी की सड़कों पर नए साल से इलेक्ट्रिक बसें चलेगी। निगम प्रशासन ने 12 करोड़ की लागत से 10 इलेक्ट्रिक बसें खरीदने का निर्णय लिया है। इसके लिए निगम ने टेंडर प्रक्रिया शुरू कर दी है। जनवरी में सिटी बस राजधानी की सड़कों पर दौड़ने लगेगी। इलेक्ट्रिक बसों का संचालन निगम स्वयं करेगा। इससे राजधानी में जहां प्रदूषण कम होगा, वहीं निगम को एक बस से प्रत्येक माह 50 हजार रुपये की बचत हो सकती है। शहर में इलेक्ट्रिक बस का बेहतर प्रतिसाद मिलने पर निगम 100 इलेक्ट्रिक सिटी बस चलाने की योजना पर काम करेगा।
अधिकारियों का कहना है कि इलेक्ट्रिक बस की खरीदी के लिए टेंडर प्रक्रिया शुरू हो गई है। नए साल में सिटी बस चलने लगेगी। राजधानी में ट्रांसपोर्ट सिस्टम कोरोना संक्रमण से पूरी तरह ध्वस्त हो गया था। काफी जद्दोजहद के बाद निगम ने हाल ही में 30 सिटी बस का संचालन शुरू किया है। बाकी बसों का संचालन अभी तक बंद है।
खास बातें: 12 करोड़ की लागत से ला रहे हैं 10 बसें, टेंडर की प्रक्रिया शुरू, हाल ही में शुरू हुई हैं 30 सिटी बसें
राजधानी में इलेक्ट्रिक बसों का संचालन सर्व प्रथम टाटीबंध से तेलीबांधा, रायपुर रेलवे स्टेशन से एयरपोर्ट, स्टेशन से भाठागांव बस अड्डा और बस अड्डा से 0 पॉइंट मांढऱ विधान सभा तक चलेगी। निगम बसों को खड़ी करने के लिए पंडरी स्थित पुराना बस स्टैंड की खाली पड़ी जमीन पर डिपो बनाने की योजना बना रहा है। डिपो में ही चार्जिंग प्वाइंट बनाया जाएगा। बसों को यहीं से चार्ज कर रवाना किया जाएगा। इन बसों के शुरू होने से शहर के लोगों को लोकल रूट में सफर करने के लिए राहत मिलेगी।
इलेक्ट्रिक बसों के आने से डीजल बसें हो सकती हैं कम
इलेक्ट्रिक बसों का संचालन पर्यावरण को दृष्टि में रखते हुए शुरू किया जा रहा है। इसके साथ ही भविष्य की चुनौतियों को देखते हुए इलेक्ट्रिक बसों का संचालन शुरू करने की तैयारी है। वहीं डीजल-पेटोल के आयात पर होने वाला खर्च भी घटेगा। जैसे जैसे इलेक्ट्रिक बसें सफल होंगी, इन्हें डीजल बसों से रिप्लेस भी किया जा सकता है।
निगम बनाएगा चार्जिंग प्वाइंट, इसका चार्ज भी वसूल होगा
दिन-ब-दिन इलेक्ट्रिक व्हीकल की संख्या में इजाफा हो रहा है। इलेक्ट्रिक व्हीकल की चार्जिंग के लिए निगम प्रशासन ने 2 करोड़ की लागत से छह जगहों पर चार्जिंग प्वाइंट बनाने का निर्णय लिया है। निगम सबसे पहले आमानाका, पंडरी बस स्टैंड, जयस्तंभ चौक और कलेक्टोरेट स्थित मल्टी लेबल पार्किंग और रायपुर रेलवे स्टेशन पर चार्जिंग प्वाइंट बनाएगा।
डेढ़ लाख तक खर्च पचास हजार फायदा
निगम को एक सिटी बस के संचालन से महज पांच हजार रुपये ही मिल रहे हैं, डेढ़ लाख रुपये हर माह खर्च करना पड़ रहा है। इसके साथ ही इन बसों से शहर में प्रदूषण भी फैल रहा है। इसलिए निगम ने राजधानी में इलेक्ट्रिक बस चलाने का निर्णय लिया है। इलेक्ट्रिक बस एक बार चार्ज करने पर 200 किमी का सफर तय करेगी। निगम को सिटी बस की तुलना में इलेक्ट्रिक बस से एक माह में डेढ़ लाख का राजस्व प्राप्त होगा। एक इलेक्ट्रिक बस को चार्ज करने में 50 हजार एक महीने का बिजली बिल आएगा। वहीं 50 हजार ड्राइवर और बस की मरम्मत पर खर्च होगा। इन्हें काटकर निगम को हर माह 50 हजार रुपये की बचत हो सकती है।
उम्मीद है कि नए साल से शहर में इलेक्ट्रिक सिटी बसें चलेंगी
नगर निगम सबसे पहले 10 इलेक्ट्रिक बसें चलाने की योजना पर काम कर रहा है। इसके लिए टेंडर की प्रक्रिया शुरू हो चुकी है। उम्मीद है कि शहर में नए साल से इलेक्ट्रिक सिटी बसें चलने लग जाएं। इन बसों के साथ साथ अन्य इलेक्ट्रिक वाहनों के लिए शहर में 6 चार्जिंग प्वाइंट भी बनाए जाने हैं। निगम इसका चार्ज वसूल करेगी। – मयंक चतुर्वेदी, आयुक्त, नगर निगम, रायपुर