नवरात्री में पशुओं की बलि पर रोक लगाने के लिए जरूरी कार्रवाई का आदेश, ….होगी कड़ी कारवाई
रायपुर: कोरोना काल के 2 साल बाद इस वर्ष नवरात्री प्रदेश में बड़े धूम धाम से मनाई जा रही है। इन नवरात्री के धार्मिक कार्यक्रमों में प्रदेश के कुछ जगहों में बलि देने की परंपरा है । किसी जगह पर ये बलि पशुओं की भी दी जाती है। इसी सम्बन्ध में पुलिस मुख्यालय ने राज्य के सभी पुलिस अधीक्षकों को पत्र लिखकर धार्मिक त्योहारों के दौरान पशुओं की बलि पर रोक लगाने के लिए जरूरी कार्रवाई करने का आदेश दिया है।
पुलिस मुख्यालय ने राज्य के सभी जिलों के वरिष्ठ पुलिस अधीक्षकों और पुलिस अधीक्षक-रेल को पत्र भेजा है। पत्र में पेटा इंडिया की कार्यकर्ता डॉक्टर किरण आहूजा के एक जून 2022 के पत्र के संदर्भ में कहा गया है कि धार्मिक त्योहारों के दौरान बलि के नाम पर पशुओं की अवैध हत्या पर रोक लगाना है। पत्र के अनुसार शिकायतों पर तत्काल कार्यवाही और पशुओं की बलि के संबंध में पशु संरक्षण कानूनों का अनुपालन सुनिश्चित करने के लिए उच्चतम न्यायालय की ओर से दिए गए समुचित कानून और दिशा-निर्देश का अनुपालन करने के लिए लिखा गया है।
भेजे गए पत्र में उल्लेखित है कि हर साल हजारों पशुओं- जिनमें गाय, भैंस, बकरियां और ऊंट आदि शामिल हैं- की ईद-उल-अजहा, दशहरा और दुर्गा पूजा आदि त्योहारों के समय बलि दी जाती है। बलि देने के लिए पशुओं को बड़ी संख्या में वाहनों में क्रूर तरीके से अवैध रूप से ले जाया जाता है, जिस पर नियमित रूप से समुचित कानूनी कार्रवाई किए जाने के लिए दिशा-निर्देश दिया गया है।
अधिकारियों ने बताया कि पुलिस अधीक्षकों से कहा गया है कि भारत सरकार के पशु कल्याण बोर्ड ने 25 जून 2021 को त्योहारों के पूर्व आवश्यक सावधानी बरतने, बलि और पशुओं का अवैध परिवहन रोकने तथा आरोपियों के हिंसक कृत्य पर कानूनी कार्रवाई किए जाने के लिए निर्देशित किया था। पुलिस अधीक्षकों से कहा गया है कि वे इस संबंध में अपने-अपने क्षेत्रों में दिए गए दिशा-निर्देश के अनुसार समय पर आवश्यक कार्रवाई करें तथा कार्यालय को अवगत कराएं।