राजनांदगांव जिले के 36 गांवों में चलाया मलेरिया मुक्त अभियान…मलेरिया पॉजिटिव आने पर किया उपचार… किया गया मच्छरदानी का वितरण
राजनांदगांव। छत्तीसगढ़ के राजनांदगांव और मध्यप्रदेश के बालाघाट जिले के गांवों के लोगों को मलेरिया से बचाने के लिए एक अभिनव पहल दोनों राज्यों के सीमावर्ती जिलों के कलेक्टर ने की है| दोनों जिलों के स्वास्थ्य विभाग के अमलों द्वारा सीमा क्षेत्र के गांवों में मास स्क्रीनिंग कार्यक्रम के तहत घर-घर सर्वे कर मलेरिया की जांच व उपचार किया गया है|
जिला मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी डॉ. मिथलेश चौधरी ने बताया कि राजनांदगांव जिला महाराष्ट्र और मध्य प्रदेश राज्य की सीमा से लगा हुआ है| छत्तीसगढ मलेरिया मुक्त अभियान के तहत दोनों राज्यों की सीमावर्ती गांवों में मलेरिया संघन जांच एव उपचार अभियान चलाया गया| इसको लेकर दोनों जिलों के स्वास्थ्य विभाग के मैदानी अमले ने जिले के सीमावर्ती गांव मलैदा घाघरा साल्हेवारा सहित 36 गांवों में पहुचकर लोगों का शत-प्रतिशत रक्त जांच किया है और मलेरिया पॉजिटिव आने पर उपचार किया है|
जिला मुख्य चिकित्सा एव स्वास्थ अधिकारी डा मिथलेश चौधरी ने बताया कि मालेरिया उन्नमूलन के तहत गांव-गांव में लोगों को मच्छरदानी का वितरण किया गया है| इसी तरह घरों में डीडीटी का छिड़काव किया है|
उन्होने बताया कि आगामी दिनों में महाराष्ट्र सीमा से लगे छुरिया मानपुर मोहला चौकी सहित राजनांदगांव जिले के सीमावर्ती जिले कांकेर कवर्धा और बालोद जिला से सटे गांवों में मलेरिया उन्नमूलन अभियान चलाया जाएगा| जिले को मलेरिया मुक्त बनाया जाएगा| उन्होंने लोगों को मच्छरदानी लगाकर सोने की अपील की है| वहीं पूरे शरीर को ढकने वाले कपडे पहनने की हिदायत दी है|